
स्पेस सूट कैसे बनता है?
दोस्तोँ स्पेस में जाने वाले एस्ट्रोनॉट्स हमेशा एक खास तरह की ड्रेस पहनते हैं जिसे स्पेस सूट कहते हैँ। यह एक मोटा सा सूट होता है जिसपर हैलमेट और ऑक्सीजन मास्क फिटेड होता है। इस स्पेस सूट को पहने बगैर स्पेस में ज़िंदा रहना संभव नहीं दोस्तों आपको जानकार हैरानी होगी की स्पेस सूट इंसान की बनाई सबसे मेहेंगी टेक्नोलॉजीज में से एक है और एक स्पेस सूट बनाने में 80 करोड़ रूपए से ज्यादा का खर्च आता है। लेकिन यह इतने मेहेंगे क्यों होते हैं?इसका सबसे पहला कारण तो ये है की यह स्पेशल सूट उस कपड़े से नहीं बना होता है जिसे हम और आप पहनते हैं। नासा के वैज्ञानिकों ने अंतरिक्ष की स्थितियों का आँकलन करने के बाद ही एस्ट्रोनॉट्स के लिए इस सूट को बनाया है। यह सूट जिस स्ट्रांग मटरल से बनाया जाता है उसे ‘हार्ड अपर टोर्सो’ कहते हैं।
इन सुट्स को नार्मल कपडे से इसलिए नहीं बनाते क्यूंकि स्पेस में तापमान शुन्य से 270 डेग्रेस्स सेल्सियस निचे होता है। यह स्पेशलिज़्ड स्पेस सूट एस्ट्रोनॉट्स को इस तापमान प्रेशर और साथ ही अंतरिक्ष में मौजूद हानिकारक किरणों से हमारे शरीर को बचाने के लिए एक कवच का काम करता है |इस सूट के अंदर ही एक लाइफ सपोर्टिंग सिस्टम होता है जिससे एस्ट्रोनॉट्स को ऑक्सीजन सप्लाई मिलती है ।इस सूट के अंदर ही गैस और द्रव्य पदार्थो को लेने और डिस्चार्ज करने की व्यवस्था भी होती है। इस सूट का वज़न बिना लाइफ सपोर्ट सिस्टम के भी 21 किलो होता है लेकिन स्पेस में वेइटलेससनेस्स की वजह से इसका वज़न एस्ट्रोनॉट्स को महसूस नहीं होता।